महामृत्युंजय मंत्र | Maha Mrityunjay Mantra महादेव शिव का एक सिद्ध मंत्र है. यह मन्त्र बहुत ही शक्तिशाली है. यह मन्त्र इतना शक्तिशाली है की यह प्राणों को मौत के मुँह से बचा लाता है.
शिव के इस महा मन्त्र को त्र्यम्बकं मन्त्र भी कहा जाता है. महामृत्युंजय मंत्र | Maha Mrityunjay Mantra का वर्णन यजुर्वेद के रूद्र अध्याय में मिलता है. यजुर्वेद में यह मन्त्र शिव वंदना के रूप में है.
यह मन्त्र हिन्दू धर्म का सबसे व्यापक मन्त्र है. इस मन्त्र में शिव को मृत्यु को जितने वाला कहा गया है. यह मंत्र शिव जी की आराधना करने का एक बहुत ही शक्तिशाली मन्त्र है.
हिन्दू धर्म के अनुसार यह मन्त्र वेदों का ह्रदय मन्त्र है. इस मन्त्र को अन्य कई नाम से भी जाना जाता है.
Maha Mrityunjay Mantra
महामृत्युंजय मन्त्र
ॐ हौं जूं स: ॐ भूर्भुव: स्व:
ॐ त्र्यम्बकं यजामहे
सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्।
उर्वारुकमिव बन्धनान्
मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥
महामृत्युंजय मंत्र | Maha Mrityunjay Mantra को बिभिन्न नामों से जाना जाता है. निचे इन नामों की लिस्ट और उनका हिंदी अर्थ दिया गया है.
- महामृत्युंजय मन्त्र : मृत्यु को जितने वाला महान मन्त्र
- रूद्र मन्त्र : शिव के रूद्र रूप के कारण
- त्र्यम्बकं मन्त्र : शिव जी के तीन नेत्रों के कारण
- मृत संजीवनी मन्त्र : मृत्यु से बचानेवाला महा मन्त्र
Mahamrityunjay Mantra in English Lyrics
Maha Mrityunjay Mantra
Om haun joon sah
(ॐ )Om Bhubhurwah swah
Om Trymbakam Yajamahe
Sugandhim Pushti Wardhnam.
Urwa rukmiv Bandhnaan
Mrityormukshiya Maamritaat.
Maha Mrityunjay Mantra in Hindi
महामृत्युंजय मन्त्र का हिंदी अर्थ | Maha Mrityunjay Mantra meaning निचे दी जा रही है.
हम त्रि-नेत्रीय वास्तविकता का चिंतन करते हैं जो जीवन की मधुर परिपूर्णता को पोषित करता है और वृद्धि करता है। ककड़ी की तरह हम इसके तने से अलग (“मुक्त”) हों, अमरत्व से नहीं बल्कि मृत्यु से हों।
महामृत्युंजय मन्त्र का जाप कैसे करें?
महा मृत्युंजय मन्त्र महादेव शिव का एक बहुत ही शक्तिशाली मन्त्र है. इस एक मन्त्र में सारे श्रृष्टि के शक्ति समाई हुई है. यह मन्त्र शिव का अपने भक्तों को आशीर्वाद है.
इस मन्त्र के जाप से मनुष्य को अकाल मृत्यु का भय नहीं रहता है. इस मंत्र को पुरे नियम से जाप करना चाहिए. तभी इस मन्त्र का फल मिलता है.
महादेव शिव के इस मन्त्र को किस तरह से जाप करना है. इसके बारे में निचे जानकारी दी जा रही है.
- इस मन्त्र का जाप किसी भी दिन किया जा सकता है.
- सोमवार का दिन इस मन्त्र को सिद्ध करने के लिए उत्तम होता है.
- सावन माह इस महा मृत्युंजयं मन्त्र को सिद्ध करने के लिए उत्तम होता है.
- सावन को महादेव शिव का महिना माना गया है.
- प्रातःकाल और संध्या काल का समय इस मन्त्र के जाप के लिए उत्तम होता है.
- अगर महा मृत्युंजय मन्त्र को पहले सिद्ध कर लिया जाए. तो इस मन्त्र का प्रभाव ज्यादा व्यापक होता है.
- वैसे आप जरुरत पड़ने पर भी इस मन्त्र का जाप कर सकतें हैं.
- शिव जी की कृपा प्राप्ति के लिए आप इस मन्त्र का जाप करें.
- सर्व प्रथम स्नान आदि करके खुद को स्वच्छ कर लें.
- उसके पश्चात शिव जी की प्रतिमा या शिवलिंग या फिर महादेव शिव की तस्वीर के पास बातें.
- फिर शिव जी पर ध्यान लगायें.
- ह्रदय से महादेव शिव का ध्यान करें.
- शिव पर पूर्ण श्रद्धा और बिस्वास रखें.
- उसके पश्चात रुद्राक्ष की माला लेकर इस मन्त्र का जाप करें.
- आप नित्य प्रतिदिन इस मन्त्र का जाप कर सकतें हैं.
- आप 11,21 या फिर 108 बार महामृत्युंजय मन्त्र का जाप करें.
- 108 बार महामृत्युंजय मन्त्र का जाप करना ज्यदा उत्तम होता है.
- महादेव को बिल्वपत्र,पुष्प आदि अर्पित करें.
- गंगाजल अवस्य महादेव को अर्पित करें.
- उसके पश्चात महादेव से अपने अपराधों के लिए क्षमा याचना करें.
- महादेव से अभय का वरदान मांगे.
- भोलेनाथ शिव से कृपादृष्टि के लिए प्रार्थना करें.
- उसके पश्चात महादेव शिव की आरती करें.
Mahamrityunjay Mantra Meaning
महामृत्युंजय मन्त्र का अनुवादित अर्थ उपर दिया गया है. निचे इसका मैं भावार्थ दे रहा हूँ.
हम भगवान शिव की पूजा करते हैं, जिनके तीन नेत्र हैं, जो हर श्वास में जीवन शक्ति का संचार करते हैं और पूरे जगत का पालन-पोषण करते हैं।
महा मृत्युंजय मन्त्र की कथा
हमारे धर्म ( हिन्दू धर्म ) के अनुसार महामृत्युंजय मन्त्र की एक कथा प्रचलित है. ऋषि मृकण्ड को कोई सन्तान नहीं थी. उन्होंने शिव जी की तपस्या की. तपस्या के फलस्वरूप उन्हें पुत्र रत्न की प्राप्ति हुई.
परन्तु उनका यह पुत्र अल्पायु था. उसकी आयु सिर्फ 12 वर्ष थी. परन्तु ऋषि मृकण्ड को अपने आराध्य महादेव शिव पर पूर्ण बिस्वास था.
ऋषि मृकण्ड के पुत्र का नाम मार्कंडेय था. धीरे धीरे मार्कण्डेय बड़े होने लगे. ऋषि मृकण्ड ने अपने पुत्र उसकी भविष्य की सम्पूर्ण बात बताते हुए शिव जी की आराधना करने को कहा.
इससे मार्कंडेय शिव जी की आराधना करने लगे. वे हमेशा महा मृत्युंजय मन्त्र का जाप करते.
12 वर्ष पुरे होने को थे. मार्कण्डेय मंदिर में शिवलिंग के पास बैठे महामृत्युंजय मन्त्र ( Maha Mrityunjay Mantra ) का जाप कर रहे थे. मृत्यु का समय होने पर यमराज के दूत आये. परन्तु महामृत्युंजय मन्त्र के प्रभाव से वे उसके पास भी पहुँच नहीं सके. वे लौट गए.
तब यमराज स्वयं मार्कण्डेय के प्राण लेने को आये. यमराज को देखते हीं मार्कण्डेय शिवलिंग से लिपट गए. तभी एक चमत्कार हुआ. एक अदभुत हुंकार के साथ सभी ओर प्रकाश फ़ैल गया. और महादेव शिव स्वयं प्रकट हुए.
उन्होंने यमराज से कहा की तुम इसके प्राण नहीं ले जा सकते. शिव जी की आज्ञा से यमराज उसके प्राण नहीं ले गए.
इस तरह से यह मन्त्र सिद्ध हुआ.
Benefits of Maha Mrityunjay Mantra
महामृत्युंजय मन्त्र से लाभ
- महामृत्युंजय मन्त्र के जाप से मनुष्य को भगवान् शिव की कृपा की प्राप्ति होती है.
- यह मन्त्र बहुत ही शक्तिशाली मन्त्र है.
- इस मन्त्र के जाप से मनुष्य को अकाल मृत्यु का भय नहीं रहता है.
- यह मन्त्र मनुष्य को अकाल मृत्यु से बचाता है.
- महामृत्युंजय मन्त्र ( Maha Mrityunjay Mantra ) के जाप से मनुष्य को अदभुत मानसिक शान्ति की अनुभूति होती है.
- इस मन्त्र का जाप मनुष्य को कई तरह की रोगों से बचाता है.
- महामृत्युंजय मन्त्र के जाप से रोगों से मुक्ति मिलती है.
- यह मन्त्र शारीरिक विकारों के साथ साथ ही मानसिक विकारों से भी बचाता है.
- शिव जी कृपा से मनुष्य को समस्त प्राकर के रोगों और शोक से मुक्ति मिलती है.
- जीवन में शुख और शान्ति आती है.
- जीवन में सफलता मिलती है.
- धन सम्पति में बृद्धि होती है.
वैसे तो महामृत्युंजय मन्त्र ( Maha Mrityunjay Mantra in hindi) का प्रभाव काफी बृहद और व्यापक है. इस मन्त्र के प्रभाव का वर्णन करना मेरे लिए संभव नहीं है.
फिर भी जो भी मैंने अपने अनुभव और रिसर्च से पाया है उसे बता रहा हूँ. इस मन्त्र का सर्वश्रेष्ठ लाभ है रोगों से मुक्ति. इस मन्त्र के प्रभाव से कई तरह की रोगों से मुक्ति मिलती है.यह मन्त्र साथ ही कई तरह की शारीरिक और मानसिक विकारों से हमें बचाता है.
इस मन्त्र के जाप से चारों ओर positive energy ( सकारात्मक उर्जा ) का प्रवाह होता है.
इस मन्त्र के जाप के समय शिव जी पर पूर्ण श्रद्धा और बिस्वास अवस्य रखें.
अगर आप कोई सुझाव या सलाह देना चाहतें हैं तो कृपया निचे कमेंट बॉक्स में लिखें.
महादेव शिव भोलेनाथ आप सभी की समस्त शुभ मनोकामनाये पूर्ण करें.
जय महादेव. ॐ नमः शिवाय.
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